दूसरों का वाहन नही अब अपना आॅटो रिक्शा चलाते हैं किशोरी परिवार का आर्थिक स्तर भी सुधरा और सम्मानपूर्वक जीवन जीने का अवसर भी मिला
पन्ना 06 मई 18/परिवार की आर्थिक स्थिति ठीक न होने के कारण किशोरी दूसरों का वाहन तो चलाने लगे। लेकिन इससे प्राप्त वेतन से उनके परिवार का खर्चा उठाना भी कठिन हो रहा था। किषोरी बंषकार अपने माता पिता के साथ पन्ना जिले के ग्राम सिमरिया में रहते हैं। प्रायवेट वाहन का ड्राईवर बनकर उन्हें केवल 3 हजार रूपये का मासिक वेतन प्राप्त हो रहा था। किशोरी अपने परिवार की स्थिति और अपनी इतनी कम आय से दुखी हो गए थे। तभी समाचार पत्रों के माध्यम से उन्हेें अन्त्यावसायी सहकारी विकास समिति के अन्तर्गत संचालित मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना की जानकारी प्राप्त हुई। इससे उनके मन में खुद का व्यवसाय करने की उम्मीद जागी।
किशोरी बताते हैं कि मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना की जानकारी मिलने के बाद मैने जिला अंत्यावसायी सहकारी विकास समिति मर्यादित पन्ना के कार्यालय पहुंचकर अधिकारियों से सम्पर्क किया। क्योंकि मुझे वाहन चलाना आता था इसलिए मैंने स्वयं का आॅटो लेने का निर्णय लिया। अधिकारियों की मदद से आटो रिक्षा के लिये 200000/- के ऋण का आवेदन भरकर कार्यालय में जमा कर दिया । जिसे भारतीय स्टेट बैंेक शाखा सिमरिया में स्वीकृत हेतु प्रेषित किया गया।
बैंक ने योजनानुसार रूपये 200000/- स्वीकृत कर दिये। इस ऋण के विरूद्ध मुझे 60000/- रूपये अनुदान की राषि का लाभ भी जिला अंत्यावसायी सहकारी समिति से प्राप्त हुआ। ऋण प्राप्त होने के बाद मैंने अपना स्वयं का आॅटो रिक्शा खरीदा और चलाने लगा। इससे अब मुझे प्रतिदिन 400-500/- रूपये की आय प्राप्त हो रही है। मैं प्रतिमाह रूपये 5500/- ऋण की किश्त भी नियमित जमा कर रहा हॅू। योजना की मदद से न केवल मेरे परिवार का आर्थिक स्तर सुधरा है बल्कि अपना व्यवसाय प्रारंभ करके समाज में प्रतिष्ठा पूर्वक जीवन यापन करने का अवसर भी प्राप्त हुआ है। किशोरी कहते हैं कि अन्य बेरोजगार युवाओं को भी इस योजना का लाभ अवश्य लेना चाहिए।
समाचार क्रमांक 56-1254

बैंक ने योजनानुसार रूपये 200000/- स्वीकृत कर दिये। इस ऋण के विरूद्ध मुझे 60000/- रूपये अनुदान की राषि का लाभ भी जिला अंत्यावसायी सहकारी समिति से प्राप्त हुआ। ऋण प्राप्त होने के बाद मैंने अपना स्वयं का आॅटो रिक्शा खरीदा और चलाने लगा। इससे अब मुझे प्रतिदिन 400-500/- रूपये की आय प्राप्त हो रही है। मैं प्रतिमाह रूपये 5500/- ऋण की किश्त भी नियमित जमा कर रहा हॅू। योजना की मदद से न केवल मेरे परिवार का आर्थिक स्तर सुधरा है बल्कि अपना व्यवसाय प्रारंभ करके समाज में प्रतिष्ठा पूर्वक जीवन यापन करने का अवसर भी प्राप्त हुआ है। किशोरी कहते हैं कि अन्य बेरोजगार युवाओं को भी इस योजना का लाभ अवश्य लेना चाहिए।
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